Kahani – चौरासी लाख योनियों का रहस्य

हिन्दू धर्म में पुराणों में वर्णित ८४००००० योनियों के बारे में आपने कभी ना कभी अवश्य सुना होगा। हम जिस मनुष्य योनि में जी रहे हैं वो भी उन चौरासी लाख योनियों में से एक है। अब समस्या ये है कि कई लोग ये नहीं समझ पाते कि वास्तव में इन योनियों का अर्थ क्या … Read more

Kahani – जाना है भवपार

एक निर्धन विद्वान व्यक्ति चलते चलते पड़ोसी राज्य में पहुँचा। संयोग से उस दिन वहाँ हस्तिपटबंधन समारोह था जिसमें एक हाथी की सूंड में माला देकर नगर में घुमाया जाता था। वह जिसके गले में माला डाल देता था उसे 5 वर्ष के लिए वहां का राजा बना दिया जाता था। वह व्यक्ति भी समारोह … Read more

Kahani – Mahabharat ke 9 Sutra

महाभारत का “नव सार सूत्र” सबके जीवन में उपयोगी सिद्ध होगा… —————————– 1) “संतानों की गलत माँग और हठ पर समय रहते अंकुश नहीं लगाया, तो अंत में आप असहाय हो जायेंगे” – कौरव 2) “आप भले ही कितने बलवान हो, लेकिन अधर्म के साथ हो, तो आपकी विद्या, अस्त्र, शस्त्र, शक्ति और वरदान, सब … Read more

Kahani – बख्शीश

कन्धे पर कपड़े का थान लादे और हाट-बाजार जाने की तैयारी करते हुए नामदेव जी से पत्नि ने कहा- भगत जी! आज घर में खाने को कुछ भी नहीं है। आटा, नमक, दाल, चावल, गुड़ और शक्कर सब खत्म हो गए हैं। शाम को बाजार से आते हुए घर के लिए राशन का सामान लेते … Read more

kahani – प्रेम

एक बार एक पुत्र अपने पिता से रूठ कर घर छोड़ कर दूर चला गया और फिर इधर उधर यूँही भटकता रहा। दिन बीते, महीने बीते और साल बीत गए | एक दिन वह बीमार पड़ गया | अपनी झोपडी में अकेले पड़े उसे अपने पिता के प्रेम की याद आई कि कैसे उसके पिता … Read more

Kahani – गुरु गोविन्द सिंह जी के पंज प्यारे

गुरु गोविन्द सिंह ने ‘अमृत’ चखा कर पाँचों को खालसा की सदस्यता दिलाई जब कोरोना वायरस की आपदा के बीच वैशाखी देशवासियों के लिए ख़ुशी का एक मौक़ा लेकर आया है, ये समय इस्लामी आक्रांताओं से लोहा लेकर खालसा पंथ की स्थापना करने वाले सिखों के दसवें और अंतिम गुरु गोविन्द सिंह जी को याद … Read more

Kahani – Bhagye

यात्रियों से भरी बस चली जा रहा थी, जब अचानक मौसम बदला और भारी बारिश चालू हो गयी और बिजली भी चारों तरफ चमकने लगी । सभी देख रहे थे कि बिजली कभी भी बस को चपेट में ले सकती है । रोशनी से बचने के 2 या 3 कठिन प्रयास के बाद, चालक ने … Read more

Kahini – Safal Jeevan

एक सेठ बड़ा साधु सेवी था। जो भी सन्त महात्मा नगर में आते वह उन्हें अपने घर बुला कर उनकी सेवा करता। एक बार एक महात्मा जी सेठ के घर आये। सेठानी महात्मा जी को भोजन कराने लगी। सेठ जी उस समय किसी काम से बाज़ार चले गये। भोजन करते करते महात्मा जी ने स्वाभाविक … Read more

Kahani – Swarth ya Paropkaar?

एक छोटे बच्चे के रूप में, मैं बहुत स्वार्थी था, हमेशा अपने लिए सर्वश्रेष्ठ चुनता था। धीरे-धीरे, सभी दोस्तों ने मुझे छोड़ दिया और अब मेरे कोई दोस्त नहीं थे। मैंने नहीं सोचा था कि यह मेरी गलती थी, और मैं दूसरों की आलोचना करता रहता था लेकिन मेरे पिता ने मुझे जीवन में मदद … Read more

Kahani – मन चंगा तो कठौती में गंगा

एक बार की बात है, एक परिवार में पति पत्नी एवं बहू बेटा याने चार प्राणी रहते थे। समय आराम से बीत रहा था। चंद वर्षो बाद सास ने गंगा स्नान करने का मन बनाया। वो भी अकेले पति पत्नी। बहू बेटा को भी साथ ले जाने का मन नहीं बनाया। उधर बहू मन में … Read more